'जय संतोषी मां' के प्रोड्यूसर दादा सतराम रोहरा का निधन, इनकी फिल्म का आज तक कोई नहीं तोड़ पाया ये रिकॉर्ड
Producer Satram Rohra Passed Away
Satram Rohra Passed Away: भारत की सबसे बड़ी ब्लॉकबस्टर फिल्मों में एक 'जय संतोषी मां' (1975) के ऐसे-ऐसे रिकॉर्ड रहे जिसे आजतक कोई तोड़ नहीं पाया. इस फिल्म को बनाने वाले सतराम रोहरा का निधन हो गया है. 85 वर्ष की आयु में सतराम रोहरा ने दुनिया को अलविदा कह दिया लेकिन उनके पीछे उनकी फिल्में हमेशा उन्हें जिंदा रखेंगी.
सतराम रोहरा की सबसे बड़ी फिल्म जय संतोषी मां थी जो बॉक्स ऑफिस पर ताबड़तोड़ कमाई कर गई. इस फिल्म के साथ 'शोले' जैसी फिल्म क्लैश हुई थी जो भारतीय सिनेमा की सबसे बड़ी फिल्मों में एक है. मुश्किल कॉम्पटीशन होने के बाद भी 'जय संतोषी मां' ने जबरदस्त कमाई की थी.
'जय संतोषी मां' को सतराम रोहरा ने किया था प्रोड्यूसर
16 जून 1939 को ब्रिटिश इंडिया के सिंध (अब पाकिस्तान में) में सतराम रोहरा का जन्म हुआ लेकिन आजादी के बाद इनका पूरा परिवार मुंबई आ गया था. प्रोड्यूसर के तौर पर सतराम रोहरा की पहली फिल्म शेरा डाकू (1966) थी और इसके बाद उनकी फिल्म 'रॉकी मेरा नाम' आई जो सुपरहिट रही.
सतराम रोहरा के निर्माण और विजय शर्मा के निर्देशन में बनी फिल्म जय संतोषी मां आई जो हिंदी सिनेमा की सबसे कामयाब फिल्मों में एक है. सतराम रोहरा ने 'घर की लाज', 'करण', 'जय काली', 'नवाब साहिब' जैसी फिल्में बनाईं. सतराम रोहरा सिंगर भी थे जिन्होंने 'झूलेलाल', 'हाल ता भाजी हालू', 'शल ध्यार ना जामन' और 'लाडली' जैसे गाने गाए हैं. इन्होंने 'महाभारत' (1987) में भी बतौर सिंगर काम किया है.
'जय संतोषी मां' और 'शोले' में हुई थी टक्कर
15 अगस्त 1975 को हिंदी सिनेमा की दो फिल्में 'जय संतोषी मां' और 'शोले' रिलीज हुई. 'जय संतोषी मां' को पहले दिन से ही रिस्पॉन्स मिला लेकिन 'शोले' को रिस्पॉन्स रिलीज के तीन-चार दिन बाद मिला. मेकर्स को लगा था कि 'शोले' फ्लॉप होगी लेकिन जब इसने रफ्तार पकड़ी तो इसे कोई रोक नहीं पाया और ये फिल्म ऐतिहासिक बन गई.
वहीं अगर बात 'जय संतोषी मां' की करें तो इस फिल्म को 'शोले' जैसी फिल्म का कड़ा टक्कर मिला था फिर भी 'जय संतोषी मां' ने बॉक्स ऑफिस पर अपनी पहचान बनाई. Sacnilk के मुताबिक, फिल्म 'जय संतोषी मां' का बजट 30 लाख रुपये था जबकि बॉक्स ऑफिस पर फिल्म ने 10.50 करोड़ का वर्ल्डवाइड कलेक्शन किया था.
फिल्म का वर्डिक्ट ऑल टाइम ब्लॉकबस्टर था. बताया जाता है कि उस समय फिल्म देखने वाले थिएटर के बाहर जूते-चप्पल उतारकर जाते थे. वहीं जब फिल्म का टाइटल सॉन्ग बजता था तो लोग हाथ जोड़कर खड़े हो जाते थे.